जख्मी  बीमार मां को कैद कर बेटा अपनी पत्नी, बच्चों और सास-ससुर के साथ गया कुंभ;

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 जख्मी  बीमार मां को कैद कर बेटा अपनी पत्नी, बच्चों और सास-ससुर के साथ गया कुंभ; पुलिस ने ताला तोड़ बाहर निकाला

ये कैसा गंगा स्नान ????

झारखंड के रामगढ़ में एक बुजुर्ग मां को घर में बंद कर कुंभ स्नान करने जाने का मामला सामने आया। भूख से तड़पती महिला को पड़ोसियों ने पुलिस की मदद से बाहर निकाला और खाना-पानी दिया। इस अमानवीय कृत्य पर जांच की कारवाई जारी !!

मां को तड़पता छोड़ गया कुंभ नहाने

प्रयागराज महाकुंभ मेला 2025 को लेकर देशभर में उत्साह का माहौल है। कई मुश्किलों का सामना कर देश-विदेश के श्रद्धालु प्रयागराज पहुंच रहे हैं। इस बीच प्रयागराज महाकुंभ को लेकर झारखंड के रामगढ़ जिले से एक चौंकाने वाली खबर सामने आई। एक शख्स ने बीमार वृद्ध मां को घर में बंद कर अपनी पत्नी और बच्चों के साथ कुंभ स्नान करने चला गया।

घर में दो दिनों से बंद महिला खाने के लिए तड़प रही थी। उनके रोने की आवाज सुनकर पड़ोसी जुटे और पुलिस को सूचना दी। जिसके बाद पुलिस ने पड़ोसियों की उपस्थिति में घर का ताला तोड़ कर महिला को बाहर निकाला और भोजना-पानी उपलब्ध कराया।

रोने-बिखलने चिल्लाने और दरवाजा खटखटाने की आवाज से मिली जानकारी

दरअसल, रामगढ़ के अरगड़ा में रहने वाले सीसीएल कर्मी अखिलेश प्रजापति अपनी 65 साल की वृद्ध मां संजू देवी को घर में बंद कर सास-ससुर, पत्नी और बच्चों कुंभ स्नान चले गए। स्थानीय लोगों ने बताया कि संजू देवी ने दो दिन तो किसी तरह से काट लिया,लेकिन तीसरे दिन भूख के कारण उनका धैर्य जवाब दे गया। वृद्धा के अंदर से रोने, बिखलने और चिल्लाने की आवाज सुनकर पड़ोसी पहुंचे। लेकिन घर के मुख्य दरवाजे पर ताला लगा था।

बेटी और रिश्तेदारों की सूचना पर पुलिस ने ताला तोड़ा

पड़ोसियों ने वृद्धा की बेटी और एक अन्य रिश्तेदार को सूचना दी। जिसके बाद वो सभी वृद्धा को बाहर निकालने की गुहार लगाने के लिए रामगढ़ थाना पहुंचे। इसके बाद पड़ोसियों की मौजूदगी में घर का ताला तोड़ का संजू देवी को बाहर निकाला गया। घर से बाहर निकलने के बाद भूख से बिलख रही संजू देवी को लोगों ने खाना खिलाया और पानी पिलाया।
भूख के कारण वृद्ध महिला चबा रही थीं प्लास्टिक

हाथ पांव में जख्म, घिसट कर चलने को मजबूर

पड़ोसियों ने बताया कि संजू देवी भूख के कारण घर में रखे प्लास्टिक को बचा रही थीं। उसके अगले से आवाज भी नहीं निकल रही थी। बेटी चांदनी को देखकर वह गले से लिपट गई। हालांकि पैर में जख्म होने के कारण वह ठीक से चल भीनहीं पा रही थी। बाद में बेटी अपने साथ मां को कहुआबेड़ा गांव स्थित अपने ससुराल ले गई। वहां उनके जख्म में मरहम
पिता की मौत पर बेटे को अनुकंपा पर मिली थी नौकरी

मां ने दी थी सरकारी नौकरी

वहीं पिता की मौत के बाद अनुकंपा पर सिरका परियोजना में शॉवेल ऑपरेटर के पद पर कार्यरत अखिलेश कुमार ने मोबाइल पर बताया कि वह सोमवार को पत्नी और बच्चों के साथ कुंभ के लिए निकला था। मां को खाना और चूड़ा देकर गया था। उन्होंने कहा कि वृद्ध होने के कारण मां को वह अपने साथ कुंभ नहीं ले गया। उन्होंने कहा कि मां की सहमति मिलने के बाद ही उनके खाने-पीने का इंतजाम कर प्रयागराज गया था। मां को इतनी अधिक परेशानी हो जाएगी, ऐसा आभास नहीं था।

– ताला बंद कर बाहर जाना गैर कानूनी

दूसरी तरफ कानून के जानकारों का कहना है कि किसी को कमरे में ले जाकर ताला बंद कर बाहर चले जाना गैर कानूनी है। यह मौलिक अधिकारों का हनन भी है। कमरे में बंद महिला यदि परेशान हो रही है तो यह प्रताड़ना का मामला भी बनता है। यह जान मारने का प्रयास का मामला भी बन सकता है। केस दर्ज की जा सकती है।

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